देवेंद्र तिवारी साँची रायसेन
हाल ही में हुए विधानसभा चुनाव में रात दिन एक करने वाले राजनीतिक दलों के कार्यकर्ता अब अपनी अपनी जीत के दावे करने में मशगूल हो गए हैं तथा जीत-हार के दावों की चर्चा भी जोरों पर चल रही है।
जानकारी के अनुसार वैसे तो विधानसभा चुनाव सम्पन्न हो चुके हैं चुनाव में रात दिन एक करने वाले कार्यकर्ता अब अपनी अपनी जीत के दावे ठोकते दिखाई दे रहे हैं वहीं दुकानों पर भी हार-जीत की चर्चा जोरों पर चल रही है वैसे तो मुख्य रूप से सांची विधानसभा चुनाव में भाजपा कांग्रेस का ही मुख्य मुकाबला रहा है बावजूद इसके निर्दलीय प्रत्याशी भी अपनी जीत के दावे करने में पीछे नहीं दिखाई दे रहे हैं हालांकि हमेशा से ही इस विधानसभा क्षेत्र में दो ही दल भाजपा कांग्रेस आमने-सामने रही है इस चुनाव में जहां भाजपा अपनी जीत के दावे करने में पीछे नहीं दिखाई देते वहीं कांग्रेस कार्यकर्ता भी अपनी जीत को लेकर खुश दिखाई दे रहे हैं इन दिनों चुनाव में हार जीत के दावे ज़ोर पकड़ चुके हैं हालांकि चुनाव में हिस्सा लेने वाले प्रत्याशियों के भाग्य ईवीएम मशीन में कैद हो चुके हैं परन्तु दावों का दौर लगातार जारी है जबकि तीन दिसंबर को ईवीएम मशीन इन दावों का पटाक्षेप कर देंगी तब ही हकीकत सामने आ सकेगी कि विधानसभा क्षेत्र के मतदाता किसके सिर ताज बांधेंगे । हालांकि दोनों ही ओर से तीन दिसंबर का बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं तथा दोनों ही ओर से जश्न मनाने की तैयारी हो रही है इस बीच दोनों ही दलों में भीतर घात भी किसी से छिपा नहीं रहा बावजूद इसके मतदाताओं को भी बेसब्री से चुनाव नतीजों का इंतजार हो रहा है जहां लोग भाजपा की जीत के दावे करते दिखाई दे रहे हैं तो दूसरी ओर कांग्रेस समर्थित कांग्रेस की जीत के दावे करने में पीछे नहीं दिखाई देते हैं बहरहाल तीन दिसंबर को ईवीएम मशीन ही इन दावों को विराम लगा देंगी । तथा इस दिन ही मशीन हार जीत का फैसला सुना देंगी । इतना ही नहीं चर्चा तो यहां तक चल रही है कि प्रदेश में कौन सत्ता पर काबिज होगा इसका फैसला भी ईवीएम तीन दिसंबर को सुना देंगी तथा सभी कयासों पर विराम लगा देगी अभी लोग अपनी अपनी चहेती सरकार बनने के दावे ठोकते दिखाई दे रहे हैं।