इंदौर। इंदौर के देवी अहिल्या विश्वविद्यालय में प्रवेश के इच्छुक विद्यार्थियों के सामने अजीब स्थिति खड़ी हो गई है। विद्यार्थियों को पढ़ना तो इंदौर में है, लेकिन उन्हें प्रवेश के लिए टेस्ट देने गुजरात जाना होगा। वह भी ऐसे समय जब समुद्री तूफान बिपरजाय के कारण गुजरात के कई क्षेत्रों में स्कूल-कालेज बंद व परिवहन सेवा स्थगित है। विश्वविद्यालय ने सीयूईटी के जरिए प्रवेश देने की घोषणा की है। आवेदन भरने वाले प्रदेश के विद्यार्थियों को टेस्ट सेंटर अहमदाबाद, सूरत, मेहसाणा दे दिए गए हैं।
बुधवार शाम सीयूईटी के आवेदन दाखिल करने वाले विद्यार्थियों के आनलाइन प्रवेश पत्र जारी हुए। प्रवेश पत्र देखकर विद्यार्थियों के साथ अभिभावकों की नींद उड़ गई है। 17 जून से शुरू हो रहे टेस्ट के लिए कई उम्मीदवारों को इंदौर से सैकड़ों किलोमीटर दूर के सेंटर दे दिए गए हैं। भोपाल, जबलपुर, ग्वालियर तो ठीक, सैकड़ों विद्यार्थियों को राज्य के बाहर अहमदाबाद, सूरत और मेहसाणा के सेंटर भी दिए गए हैं। हैरान करने वाली बात यह है कि आवेदन करते समय विद्यार्थियों से टेस्ट सेंटर की प्राथमिकता वाले शहरों के विकल्प भी लिए गए थे। इंदौर, उज्जैन, भोपाल जैसे विकल्प भरने वाले विद्यार्थियों को भी गुजरात के सेंटर आवंटित किए गए हैं।
विद्यार्थी और अभिभावक पहुंचे विश्वविद्यालय
विश्वविद्यालय ने पहले तो सीयूईटी करवाने वाली संस्था नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (एनटीए) पर जिम्मेदारी डालने की कोशिश की। गुरुवार को कुछ विद्यार्थी, अभिभावकों के साथ विश्वविद्यालय के स्ववित्त कर्मचारी संघ के पदाधिकारी भी अधिकारियों के पास पहुंचे। इन्होंने शिकायत की कि आखिर बच्चे सैकड़ों किलोमीटर दूर परीक्षा देने कैसे जा सकते हैं। विश्वविद्यालय प्रवेश प्रक्रिया तय कर रहा है तो इस मनमानी का निराकरण भी करना चाहिए। विद्यार्थियों के लिए यह संभव नहीं है कि वे गुजरात जाकर परीक्षा दे सकें। तूफान के बीच सड़क और रेल परिवहन के साधन भी कम हैं। ऐसे में तो यह असंभव ही है कि कोई गुजरात तक जाकर परीक्षा दे सके।
ढाई सौ से ज्यादा विद्यार्थियों के सेंटर कई किमी दूर
छात्र और विश्वविद्यालय के कर्मचारी बता रहे हैं कि कम से कम ढाई सौ विद्यार्थी इस मनमानी का शिकार हुए हैं। हैरानी की बात है कि नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (एनटीए) इंदौर में छात्र संख्या ज्यादा होने की बात कहकर गुजरात टेस्ट सेंटर देने के निर्णय का बचाव कर रही है, जबकि टेस्ट अलग-अलग चरणों में होना है। विश्वविद्यालय अब एनटीए से बात कर सेंटर बदलवाने में जुटा है।
सवा सौ विद्यार्थियों की शिकायत पहुंची
करीब सवा सौ विद्यार्थियों की शिकायत पहुंची है। मेरे भतीजे को भी गुजरात सेंटर दे दिया गया है। हमने एनटीए के अधिकारियों से बात की है। उन्हें ईमेल भी किया है। वे संख्या ज्यादा होने का हवाला दे रहे हैं। विश्वविद्यालय ने कहा है कि परीक्षा के दिन बढ़ाकर सभी विद्यार्थियों को नजदीक के सेंटर दिए जाएं।
-डा. कन्हैया आहूजा, सीयूईटी प्रभारी
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