प्रशासन देखते हुए भी अंजान
सांची रायसेन से देवेंद्र तिवारी
नगर को सिविल अस्पताल की सोगात देते हुए स्वास्थ्य मंत्री ने भूमि पूजन कर दिया तथा निर्माण एजेंसी ने भी आनन फानन में निर्माण शुरू कर दिया परन्तु एक तरफ निर्माण दूसरी तरफ नगर वासियों के सामने बरसात का पानी मदागन तालाब से निकलने पर बंद कर दिया गया जिससे नगर के निचले वार्ड नं 15 व 5 में घरों में पानी घुसने से लोगों में बैचैनी भी बढ़ गई है हालांकि इस गंभीर समस्या से प्रशासन जानते हुए भी अंजान बनकर रह गया है हालांकि बारिश ने दस्तक दे दी है बावजूद इसके प्रशासन लोगों के सामने मुसीबत खड़ी कर रहा है ।
जानकारी के अनुसार यह नगर एक ऐतिहासिक स्थल है इस नगर की बसावट के बीचोबीच एक प्राचीन मदागन तालाब है जो अस्पताल के पिछले हिस्से से लगा हुआ है इस तालाब का कायाकल्प करने पर्यटन विकास निगम ने लाखों रुपए बर्बाद कर तीन ओर से फर्शीकरण कर सुंदर बनाने का प्रयास किया परन्तु अधिकारियों व निर्माण एजेंसी ने मिली भगत कर तीन ओर से फर्शीकरण कर दिया तथा आबादी की ओर से छोड़ नौ दो ग्यारह हो गये इस सरकार के लाखों रुपए खर्च होने की न तो प्रशासन ने ही खबर ली न ही शासन ने ही अपनी राशि की फ़िक्र की जबकि बारिश में पूरे नगर का बरसात का पानी इसी तालाब में इकट्ठा होता है तथा जब अधिक होता है तब अस्पताल के पास से बने बरसों पुराने नाले से निकल जाता है वैसे हर वर्ष तालाब उबलने पर आबादी की ओर कच्ची पार तोड़कर पानी वार्ड नं 15 एवं वार्ड नं 5 के अनेकों घरों में घुस जाता है जिससे लोगों का घरू सामान के साथ बेशकीमती सामान ख़राब होता है इतना ही नहीं इस तालाब का पानी रामलीला मैदान में स्थित मुख्य सड़क पर लगभग चार से पांच फिट बहता है जिससे नगर के भीतरी हिस्से में आना जाना पूरी तरह बन्द हो जाता है तब हर वर्ष प्रशासन लोगों के नुकसान का सर्वे कर मुआवजा देने की सुध तो लेता है परन्तु पानी निकासी की व्यवस्था नहीं कर पाता हालांकि कुछ वर्ष पूर्व घरों में घुसे पानी का सर्वे करने के दौरान एक हल्का पटवारी को अपनी जान से हाथ भी धोना पड़ा था परन्तु नाकाम प्रशासन व्यवस्था तो जुटा नहीं पाया बल्कि नगर में सिविल अस्पताल भवन निर्माण के नाम पर निर्माण एजेंसी ने तालाब का ओव्हर पानी निकासी नाले पर भी कब्जा जमाते हुए नाले की पुराई कर डाली तथा तालाब का पानी निकासी पूरी तरह बंद कर दिया अब जब बारिश लगभग सरपर आ चुकी है तथा छिटपुट बूंदाबांदी से दस्तक दे दी है इससे इस क्षेत्र के रहवासियों में तालाब का पानी निकासी बंद होने से बैचैनी बढने लगी है तथा तालाब के पानी घरों में घुसने से भयभीत हो उठे हैं ऐसा भी नहीं है कि इस तालाब के पानी से क्षेत्र में बाढ़ जैसे हालात बन जाते हैं इससे अस्पताल स्वयं सुरक्षित नही रह पाता अस्पताल में भी पानी भर जाता है जिससे अस्पतालों के साथ ही स्तूप मार्ग भी बंद हो जाता है तथा अस्पताल के लाखों रुपए के उपकरण बर्बाद हो जाते हैं बावजूद इसके प्रशासन तो बेखबर बना ही से अस्पताल प्रशासन भी बेखबर बना चुका है हालांकि जब कर्मचारियों के भवन तोड़ कर नाला पूरा जा रहा था तभी मौके पर मौजूद एसडीएम एल के खरे तथा नायब तहसीलदार श्रीमती नियति साहू सहित अन्य अधिकारी अस्पताल के नवनिर्मित भवन के भूमि पूजन की तैयारी का जायजा ले रहे थे तब एसडीएम श्री खरे को नाले पूरने से बारिश की गंभीर समस्या से अवगत कराया गया था परन्तु उन्होंने इतना कह कर आगे बढ़ लिए बारिश के पूर्व नाला बनाया जायेगा अब जब बारिश सर पर आ खड़ी हुई तब भी प्रशासन का मात्र खोखला आश्वासन लोगों को मुसीबत में डालने में पीछे दिखाई नहीं दे रहा है तथा न ही इस नाले की चिंता निर्माण एजेंसी को ही सुध लेने की फुर्सत मिल पा रही है इतना ही नहीं एसडीएम स्वयं ही नगर परिषद प्रशासन में प्रशासक हैं परन्तु लगता है इस गंभीर समस्या के हल के कोई उपाय नहीं उठा पा रहे हैं हद तो तब हो जाती है जब नगरीय क्षेत्र के चुनाव प्रक्रिया शुरू हो चुकी है तथा मतदाताओं को लुभाने के प्रयास भी परिषद में पहुंचने के सपने संजोने वालों को भी इस जनता की गंभीर समस्या से कोई सरोकार नहीं रहा तथा न ही इस समस्या से निजात दिलाने कोई आगे आने को ही तैयार दिखाई दे रहा है बारिश होने से इस गंभीर समस्या से निजात नहीं मिल पा रही है जिससे लोगों में भर बढ़ रहा है।