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लोग चालान से बचने के लिए अपना रहे कई तरीके, जाने अनोखे मामलों को

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गोरखपुर। चालान होता है बाइक का और मैसेज पहुंचता है कार मालिक के पास। कई लोगों के मोबाइल फोन पर ऐसे संदेश आए होंगे। मैसेज पढ़कर हैरत में पड़े ऐसे कई लोगों की शिकायतें पुलिस के पास पहुंचती हैं। लेकिन, पुलिस जांच करने की जगह चालान के आंकड़ों को बढ़ाने में ही खुश है। जबकि इस तरह के मामलों की तह तक जाने में असली खेल सामने आ जाएगा।

असल में कुछ लोग चालान से बचने के लिए गलत नंबर प्लेट लगा ले रहे हैं। इनकी आड़ में बहुत सारी चोरी की गाड़ियां भी शहर में चल रही हैं। इसकी तस्दीक उन गाड़ी मालिकों की शिकायत करती हैं, जिसमें उन्होंने पुलिस को बताया है कि उनकी गाड़ी चोरी हो चुकी है और गाड़ी के चालान का संदेश अब पहुंचा है।

शहर के सभी प्रमुख चौराहों पर आईटीएमएस (इंटीग्रेटेड ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम) लगा दिया गया है। कैमरों की जद में आए यातायात के नियमों को तोड़ने वालों का चालान भी किया जा रहा है। लेकिन, ट्रैफिक पुलिस चालान के अनोखे मामलों की शिकायत की गंभीरता से जांच नहीं कर रही है। अगर किसी ने शिकायत कई बार की, तो जुर्माने की राशि को माफ करके मामला रफा-दफा कर दिया जाता है। यातायात पुलिस कार्यालय में ऐसे एक नहीं बल्कि, कई मामले सामने आ चुके हैं। कई ऐसे लोगों ने भी शिकायत की है, जिनकी गाड़ी पहले ही चोरी हो चुकी हैं और चालान के मैसेज अब आ रहे हैं।

  • गोला इलाके के बिसरा निवासी संतोष की हीरो डीलक्स बाइक तीन महीने पहले मेडिकल कॉलेज से चोरी हो गई थी। बृहस्पतिवार को संतोष के मोबाइल फोन पर उनकी बाइक के चालान कटने का संदेश आ गया। यह देखकर संतोष हैरान हो गए और थाने पहुंच गए। लेकिन, अभी तक इनके वाहन का सुराग नहीं लग पाया। जबकि, चालान से साफ है कि वाहन चोर उनकी बाइक को आराम से शहर में चला रहा है।
  • गोरखनाथ के रहने वाले रवि सिंह के मुताबिक, उनके पास पैशन प्रो बाइक है। बताया कि 11 मार्च को उन्हें अपने मोबाइल फोन से पता चला कि बाइक का एक हजार का चालान हुआ है। ट्रैफिक कार्यालय जाकर चालान चेक कराया तो पता चला कि नंबर तो उनका ही था। लेकिन, गाड़ी पैशन प्रो नहीं, बल्कि बुलेट थी। ऑनलाइन चालान की कॉपी में एक व्यक्ति बुलेट पर सवार दिख रहा था।
  • तिवारीपुर इलाके के रमदतपुर के रहने वाले कृष्ण पाल यादव के पास एक बुलेट है। जिसके नंबर का इस्तेमाल जौनपुर में एक दूसरी बुलेट पर किया जा रहा था। जनवरी 2022 में कृष्ण पाल को अपने मोबाइल फोन पर आए मैसेज से पता चला कि उनकी गाड़ी का जौनपुर में दस हजार का चालान काटा गया है। जब कि कृष्ण पाल गोरखपुर में भी कभी-कभी बुलेट निकालते थे और जौनपुर तो उनकी बुलेट कभी गई ही नहीं थी। इसके बाद वह हैरान-परेशान ट्रैफिक पुलिस के पास पहुंचे। शिकायत दर्ज कराने के बाद चालान निरस्त हुआ।
  • जून 2021 में भटहट के पास रहने वाले राजपुर निवासी शंभू सिह की मारूति जेन कार एक सप्ताह से गैराज में खड़ी थी। इस दौरान बिना सीट बेल्ट बांधे कार चलाने के जुर्म में उनका एक हजार का चालान कट गया। जब उन्होंने चेक किया तो पता चला कि बोलेनो कार में उनका नंबर लगा हुआ था। ट्रैफिक पुलिस कार्यालय पहुंचे तो उन्हें शिकायत दर्ज कराने की सलाह दी गई।

 

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