भोपाल। मिशन 2023 के तहत सरकार सभी वर्गों को साधने में जुटी हुई है। सरकार का सबसे अधिक फोकस अनुसूचित जनजाति यानी आदिवासी वर्ग पर है। इस वर्ग को साधने के लिए सरकार लगातार प्रयास कर रही है। इसी कड़ी में अब इस वर्ग को 200 करोड़ रूपए का बोनस और 15 लाख आदिवासी परिवारों को जूता-चप्पल साड़ी छाता वितरण करने जा रहा है। सरकार की यह कोशिश प्रदेश के सबसे बड़े थोक वोट बैंक को साधने में की है। गौरतलब है कि एससी-एसटी की सीटें 2018 में भाजपा के हाथ से फिसलती हुई दिखी थीं लेकिन भाजपा एससी-एसटी वर्ग को अपने साथ लेने के लिए लंबे समय से प्रयास कर रही है जिसमें कई अलग-अलग योजनाएं चलाना हो या जनजाति समाज में भगवान माने जाने वाले बिरसा मुंडा को लेकर पीएम मोदी द्वारा कार्यक्रम करना।
मप्र में हमेशा से ही एससी-एसटी दोनों ही समुदाय सत्ता हासिल करने का रास्ता माने जाते रहे हैं क्योंकि इन दोनों वर्गों के लिए प्रदेश की 36 फीसदी यानी 82 विधानसभा सीटें आरक्षित हैं जिनमें से 35 सीट अनुसूचित जाति और 47 अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित हैं। 2018 के चुनाव में अनुसूचित जनजाति की 47 सीटों में से 31 सीटें कांग्रेस ने जीती थीं वहीं दूसरी ओर भाजपा को 16 सीट मिली थीं। जबकि 35 अनुसूचित जाति वर्ग की 17 सीटों पर कांग्रेस और 18 सीटों पर भाजपा को जीत मिली थी। अब प्रदेश की 23 प्रतिशत अनुसूचित जनजाति का साधने के लिए लघु वनोपज संघ 200 करोड़ रूपया बोनस वितरण और 15 लाख आदिवासी परिवारों को जूता-चप्पल साड़ी छाता वितरण करने जा रहा है। इस आशय की पुष्टि लघु वनोपज संघ के प्रबंध संचालक पुष्कर सिंह ने की है। तेंदूपत्ता संग्राहको को बोनस वितरण की शुरुआत मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान पूर्वी निमाड़ के खंडवा क्षेत्र से कर चुके हैं। संघ बोनस वितरण की कड़ी में अगला कार्यक्रम महाकौशल के आदिवासियों के लिए सिवनी में और विंध्य क्षेत्र के आदिवासियों के लिए सतना में आयोजित करने जा रहा है। दोनों ही कार्यक्रम में 100-100 करोड़ रुपए का बोनस वितरण किया जाएगा।
तेंदूपत्ता संग्रहण का भी मिलेगा अधिकार
आदिवासी वर्ग को साधने के लिए भाजपा ने उन्हें तेंदूपत्ता संग्रहण का अधिकार देने को निर्णय लिया है। संघ 260 ग्राम सभाओं में तेंदूपत्ता संग्रहण का अधिकार आदिवासियों को सौंपने जा रहा है। यह प्रयोगिक तौर पर लागू किया जा रहा है। यह प्रयोग सफल होने पर 5080 आदिवासी बाहुल्य ग्राम सभाओं को तेंदूपत्ता संग्रहण का अधिकार दे दिया जाएगा। इसके पहले लघु वनोपज संघ राजधानी भोपाल में दो बड़े आयोजन जंबूरी मैदान में तेंदूपत्ता संग्राहक सम्मेलन और लाल परेड पर अंतरराष्ट्रीय वन मेले का आयोजन कराकर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और वन मंत्री विजय शाह को फील गुड का एहसास करा चुका है। वन मंत्री विजय शाह ने मिशन 2023 के लिए विभाग के मुखिया से कई अपेक्षाएं की है। विजय शाह ने नए साल पर एसीएस फॉरेस्ट जेएन कंसोटिया सहित सभी वरिष्ठ अधिकारियों को अपने बंगले पर औपचारिक मुलाकात के लिए आमंत्रित किया था। बंगले पर पहुंचे सभी अधिकारियों को नए साल की बधाई देते हुए वन मंत्री ने लघु वनोपज संघ के आयोजनों की तारीफ करते हुए पीसीसीएफ हॉफ से अपेक्षा की कि ऐसे ही कुछ और आयोजन और अभिनव प्रयोग विभाग की ओर से भी आयोजित होने चाहिए। विजय शाह का इशारा इमेज बिल्ट अप करने की ओर था।
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